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समाज कल्याण विभाग में सरकारी नौकरी का झांसा देकर 2 युवकों से ठगे 8 लाख

उत्तर प्रदेश के  बाराबंकी  जिले में समाज कल्याण विभाग लखनऊ में नौकरी दिलाने का झांसा देकर आरोपी दंपति ने दो युवकों से आठ लाख रुपए लिए थे। लेकिन इन आरोपियों द्वारा ना तो युवकों को नौकरी दिलवाई गई और ना ही पैसे वापस किए गए। पीड़ितों का आरोप है कि रुपए वापस मांगने पर उसे धमकी दी जा रही है। आरोपी भी सरकारी कर्मचारी हैं। पीड़ितों की तहरीर पर सतरिख पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर आगे की कार्रवाई  शुरू कर दिया है।। सतरिख थाना क्षेत्र के देवियापुर मजरे सहेलिया गांव निवासी मोल्हे सिंह पुत्र स्व. परमेश्वरदीन ने बताया कि  भांजे पवन कुमार पुत्र स्व. हरीलाल निवासी बासा थाना मसौली की नौकरी के लेकर वर्ष 2015 में क्षेत्र के मथौरी गांव निवासी दूरसंचार विभाग बाराबंकी में कार्यरत मंजूर हसन उर्फ सब्बू पुत्र बब्बू से बातचीत हुई थी।

उन्होंने समाज कल्याण विभाग टिकरा लखनऊ में तैनात पत्नी आसमा जुबेर के जरिए इसी विभाग में लखनऊ में चपरासी या बाबू की नौकरी दिलाने का वादा किया था। इसी दौरान मौथरी गांव निवासी फूलचंद यादव पुत्र रामसनेही भी आ गए। वह पुत्र अवधेश की नौकरी के लिए तैयार थे। दोनों ने अलग-अलग चार-चार लाख रूपए मंजूर हसन को दिया था। लेकिन दोनों युवकों को नौकरी नहीं मिली। काफी समय बीतने पर जब नौकरी नहीं मिली तो पीड़ित ने मंजूर हसन से इस संबंध में जानकारी ली।

इस पर मंजूर ने बताया कि अधिकारियों को पैसे दे दिए गए हैं। उनसे बातचीत चल रही है। धीरे-धीरे इस मामले को 8 साल बीत गया लेकिन दोनों युवकों को ना तो नौकरी मिलने ना ही पैसे वापस किए गए। पीड़ित का आरोप है कि आरोपी दंपती द्वारा अब उन्हें छेड़छाड़ के मुकदमे में फसाए जाने की धमकी दी जा रही है। सतरिख पुलिस ने दोनों ही मामलों में अलग-अलग आरोपी दंपति के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है। पुलिस द्वारा मामले की जांच की जा रही है।

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