उत्तराखंड में ‘पोस्ट डिज़ास्टर नीड असेसमेंट’ पर प्रशिक्षण, आपदा उपरांत आकलन की मिली विस्तृत जानकारी

उत्तराखंड में ‘पोस्ट डिज़ास्टर नीड असेसमेंट’ पर प्रशिक्षण, आपदा उपरांत आकलन की मिली विस्तृत जानकारी
रितेश श्रीवास्तव
देहरादून।
उत्तराखंड राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण में आज राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (NDMA) के तत्वावधान में पोस्ट डिजास्टर नीड असेसमेंट (PDNA) विषय पर विशेष प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया गया। इसमें राज्य के विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया और आपदा के बाद आवश्यकताओं के आकलन की प्रक्रिया को विस्तार से समझा।
प्रशिक्षण में एनडीएमए के विशेषज्ञ श्री अमित टंडन ने PDNA के महत्व, कार्यप्रणाली और क्रियान्वयन की जानकारी साझा की। उन्होंने बताया कि PDNA के तहत आपदा प्रभावित क्षेत्रों की क्षति का आकलन, पुनर्निर्माण की आवश्यकताएँ, सामाजिक-आर्थिक प्रभाव तथा दीर्घकालिक पुनर्वास योजनाओं का समग्र अध्ययन किया जाता है। यह केवल तकनीकी प्रक्रिया नहीं बल्कि सहभागिता आधारित प्रक्रिया है, जिसमें सभी विभागों की सक्रिय भागीदारी अनिवार्य है।
कार्यक्रम के दौरान विभिन्न विभागों के अधिकारियों ने PDNA से जुड़े प्रश्न रखे जिनका विशेषज्ञों ने विस्तृत उत्तर देते हुए मार्गदर्शन किया। सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास श्री विनोद कुमार सुमन ने कहा कि प्रदेश में PDNA को लेकर व्यापक तैयारी की जा चुकी है और विभागीय तथा जिला स्तर पर अधिकारियों को इसके लिए प्रशिक्षित किया जा रहा है।
इस अवसर पर मुख्य कार्यकारी अधिकारी (प्रशासन) श्री आनंद स्वरूप, अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी (क्रियान्वयन) डीआईजी श्री राजकुमार, संयुक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी मोहम्मद ओबैदुल्लाह अंसारी सहित कई वरिष्ठ अधिकारी और विशेषज्ञ मौजूद रहे।


